Well we survived through another end of the world prediction. Why on earth do these people frighten so many people with their predictions? Even when I was a little girl at school in 1965, someone would come up with these stupid dates! For the past fortnight, I have spent a lot of time in hospital with my mother. My mother was discharged from hospital although more tests and outpatient visits are due in future weeks. Life is beautiful...let us just enjoy it. If anything, 21st December 2012 should have made us realize that we should appreciate what we have and take more care of our planet. It was a very stressful time for me I must admit, these past few weeks, and I hope that I can slow down now and go back to my beloved craft work.
हमारे पार्क के कोने में पीले कनेर के फूल का पेड़ है यह पार्क हमारे घर के ठीक सामने है और पार्क का कोना हमारे घर के दरवाजे के दाईं और है ।भगवान शिव के श्रृंगार का सबसे प्यारा फूल है पीला कनेर ।आज कल इन फूलों की बहार आयी हुई है।कनेर का फूल बहुत ही मशहूर है।
मेरे सामनेके आँगन का कोना कनेर के साथ जट्रोफा के फूल डालेहैं जो खुबडुरत नजारा उत्पन्न कर रहे हैं
कनेर के पेड़ की ऊंचाई लगभग 10 से 11 हाथ से ज्यादा बड़े नहीं होते हैं। पत्ते लम्बाई में 4 से 6 इंच और चौडाई में 1 इंच, सिरे से नोकदार, नीचे से खुरदरे, सफेद घाटीदार और ऊपर से चिकने होते है। कनेर के पेड़ वन और उपवन में आसानी से मिल जाते है। फूल खासकर गर्मियों के मौसम में ही खिलते हैं फलियां चपटी, गोलाकार 5 से 6 इंच लंबी होती है जो बहुत ही जहरीली होती हैं। फूलों और जड़ों में भी जहर होता है। कनेर की चार जातियां होती हैं। सफेद, लाल व गुलाबी और पीला। सफेद कनेर औषधि के उपयोग में बहुत आता है। कनेर के पेड़ को कुरेदने या तोड़ने से दूध निकलता है।
कनेर या ओलियंडर का फूल चिकना, सदाबहार, दूधिया रस के साथ लकड़ी की झाड़ी वाला ऊपरी गंगा के मैदानी इलाकों पाया जाने वाला फूल है. ये भारत में कश्मीर से नेपाल 2000 मीटर तक मध्य और दक्षिण हिमालय में मंदिरों और बगीचों के पास पाया जाता है।
कनेर का फूल पूरे भारत में पाया जाता है. यह सजावट के लिए उपयोग किया जाने वाला पौधा है और आमतौर पर उद्यान में और सड़कों के किनारे पर देखा जा सकता है।
कनेर का फूल तीन आम किस्मों (सफेद, पीले, लाल) में पाया जाता हैं. इसकी सभी किस्में जहरीले किस्म की होती हैं। इस किस्म की ताजा पत्तियों का केवल पन्द्रह ग्राम का सेवन एक घोड़े को मार सकता है।
हमारे पार्क के कोने में पीले कनेर के फूल का पेड़ है यह पार्क हमारे घर के ठीक सामने है और पार्क का कोना हमारे घर के दरवाजे के दाईं और है ।भगवान शिव के श्रृंगार का सबसे प्यारा फूल है पीला कनेर ।आज कल इन फूलों की बहार आयी हुई है।कनेर का फूल बहुत ही मशहूर है।
दीवार के पार कनेर के पेड़ का ऊपरी हिस्सा दिखाई दे रहा है
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फ्लोटिंग वेज़ के अलावा सभी गमले रिसाइकल्ड हैं बीच वाला बड़ा ट ब है |
कनेर या ओलियंडर का फूल चिकना, सदाबहार, दूधिया रस के साथ लकड़ी की झाड़ी वाला ऊपरी गंगा के मैदानी इलाकों पाया जाने वाला फूल है. ये भारत में कश्मीर से नेपाल 2000 मीटर तक मध्य और दक्षिण हिमालय में मंदिरों और बगीचों के पास पाया जाता है।
कनेर का फूल पूरे भारत में पाया जाता है. यह सजावट के लिए उपयोग किया जाने वाला पौधा है और आमतौर पर उद्यान में और सड़कों के किनारे पर देखा जा सकता है।
कनेर का फूल तीन आम किस्मों (सफेद, पीले, लाल) में पाया जाता हैं. इसकी सभी किस्में जहरीले किस्म की होती हैं। इस किस्म की ताजा पत्तियों का केवल पन्द्रह ग्राम का सेवन एक घोड़े को मार सकता है।